अयोध्या: उत्तर प्रदेश के अयोध्या में प्रभु श्री राम के भव्य मंदिर (Ram Mandir) का निर्माण कार्य तेजी से चल रहा है। इसी क्रम में प्रभु श्री राम की अचल मूर्ति निर्माण के लिए कर्नाटक के मैसूर से दो शिलाएं अयोध्या पहुंच चुकी है। इससे पहले नेपाल के जनकपुर की काली गंडकी नदी से दो देव शिला को अयोध्या लाया गया था। राम नगरी अयोध्या में प्रभु श्री राम के भव्य मंदिर के गर्भगृह और गृहमंडप का निर्माण कार्य बीम तक पहुंच गया है वहीं अब प्रभु श्री राम की बाल स्वरुप मूर्ति निर्माण के लिए अलग अलग स्थानों से शिलाओं का आगमन भी शुरू हो चुका है। जिनमें कर्नाटक के मैसूर से दो शिलाएं अयोध्या पहुंची हैं, जो श्याम रंग और पीत रंग की हैं। इससे पहले नेपाल की काली गंडकी नदी से दो शिलाएं अयोध्या पहुंची थी जिनका भव्य स्वागत पूजा अर्चना के साथ किया गया था। नेपाल और कर्नाटक से आई शिलाओं को अयोध्या के रामसेवकपुरम में रखा गया है। प्रभु श्री रामलला की बनेगी प्रतिमाअयोध्या में प्रभु श्री राम की भव्य बाल स्वरुप मूर्ति के निर्माण के लिए पहले विशेषज्ञों द्वारा पत्थरों का परीक्षण किया जाएगा पत्थरों के रंग से लेकर पत्थरों की समय सीमा और उनपर कारीगरी हो सकती है या नहीं इसका खास ध्यान दिया जाएगा। चयन के बाद प्रभु श्री रामलला की बालक स्वरूप प्रतिमा बनाई जाएगी जिसे अगले साल की जनवरी के मकरसंक्रांति से पहले तक बनाए जानें की योजना थी। विहिप के प्रांतीय मिडिया प्रभारी शरद शर्मा ने इसपर जानकारी देते हुए कहा कि कर्नाटक से दो शिलाएं अयोध्या आई हैं। जिन्हें रामसेवकपुरम में रखा गया है। उन्होंने आगे कहा कि अब ऐसी कई शिलाएं आएंगी जिन्हें देखा जाएगा कि मूर्तियां किन पर बन सकती हैं। इससे पहले नेपाल से दो शिलाएं आई थी, अब कर्नाटक से आई है इसके बाद और कहीं से भी आएंगी। जिनमें पत्थरों का रंग कैसा है समय सीमा क्या होगी और उसपर तराशी हो सकती है या नहीं और ये भी देखा जाएगा कि पत्थर कच्चा है की कठोर है।
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